एनकाउंटर में मारी गई न्यायपालिका! सुबह-सुबह एक एनकाउंटर हुआ। चार लोग मारे गए। वो चार लोग जिन्होंने एक पशु चिकित्सक का पहले बलात्कार किया और फिर उसे ज़िंदा जला दिया। इन लोगों की मौत अपराधों के मामले में ज्यादा कुछ बदलेगी- इसकी संभावनाएँ कम ही हैं। लोगों का एक बड़ा तबका इस एनकाउंटर को न्याय बता रहा है और उनमें खुशी की लहर है। हैदराबाद एनकाउंटर पर बीजेपी-कांग्रेस के एक सुर लेकिन लोगों का एक बड़ा तबका जो माने वो ठीक हो - ये ज़रूरी नहीं। एनकाउंटर हुआ तो चार बलात्कार आरोपियों का है लेकिन इस एनकाउंटर ने न्याय प्रक्रियाओं और न्याय व्यवस्था को और अधिक कमज़ोर किया है। बेहतर होता कि न्यायपालिका इन आरोपियों को त्वरित सज़ा देती। ऐसा करना न्यायपालिका के प्रति लोगों के सम्मान को बढ़ाता। हैदराबाद गैंगरेप एनकाउंटर पर बोलीं स्वाति मालीवाल एनकाउंटर न्याय नहीं हो सकता संविधान ने हमारी लोकतांत्रिक व्यवस्था में न्याय देने की जिम्मेदारी न्यायपालिका नाम के संस्थान को दिया गया है। इस मामले में पुलिस ने आरोपियों को पकड़ा। वारदात के दृश्य को रिक्रिएट करने के लिए वारदात की जगह पर लेकर गई। पुलिस...